किच्छा। पूर्व विधायक राजेश शुक्ला ने विधायक तिलक राज बेहड़ द्वारा मेरे विरुद्ध लगाया गया विशेषाधिकार हनन का मामला झूठा, बेबुनियाद व सदन की परंपरा की अवहेलना करने एवं क्षेत्र के विकास में असफल हो जाने पर असल मुद्दों से जनता का ध्यान भटकाने के उद्देश्य से उठाया गया, जिसका कोई औचित्य नहीं है। पत्रकारों से बातचीत के दौरान पूर्व विधायक शुक्ला ने विधानसभा की कार्रवाई में उठाए गए मुद्दे का जवाब देते हुए कहा कि सदन के नियम एवं परंपरा में उस सदस्य का जिक्र सदन में नहीं किया जा सकता जो सदन में जवाब देने के लिए नहीं है, परंतु वरिष्ठ विधायक होने के बावजूद बेहड़ ने मेरा नाम लेकर बोलना उनकी अज्ञानता को दर्शाता है।
पूर्व विधायक शुक्ला ने कहा कि विपक्षी दल मुद्दा विहीन है, धामी एवं मोदी की सरकार प्रदेश एवं देश का चहुंमुखी विकास कर रही है ऐसे में विपक्षी दल के विधायकों के पास कोई मुद्दा नहीं है, सदन में हर बार विधायक बेहड़ यह झूठा आरोप लगाते हैं कि मैं अपने को विधायक लिखता हूं जबकि यह झूठ है,सत्य यह है कि बेहड़ का पुत्र विधायक की नेम प्लेट वाली गाड़ी में विधायक के गनर को लेकर चलता है तथा जनता दरबार लगता है क्या उसने विधायक पद की शपथ ली है।
शुक्ला ने कहा कि 2027 जैसे-जैसे निकट आ रहा है बेहड़ को फोबिया सता रहा है,इसलिए वह मुझे किसी न किसी प्रकार टारगेट करके कलंकित करने का प्रयास करते हैं,लेकिन हर बार उन्हें मुंह की खानी पड़ती है। विधायक तिलक राज बेहड़ मेरे से व्यक्तिगत द्वेष रखते हैं उनके अस्वस्थ रहने पर उन्हें अस्पताल पहुंचकर कुशलक्षेम जाना ,जबकि वहां से वापस आने के बाद सोशल मीडिया पर उनके बेटे द्वारा मुझे अपशब्द बोले गए साथ ही उनके कार्यकर्ताओं द्वारा भी मुझे गाली दी गई। विधायक सदन के पटल पर किच्छा में नई योजनाएं लाने या विकास की किसी मुद्दे पर प्रश्न उठाने की बजाय वे लेटर पैड की झूठी कहानी सुना रहे हैं जिस पर सभी लोग उन्हें गंभीरता से नहीं ले रहे हैं।